Details

Tbl_QuraanAyaat


SuraArabic
AyatNo
24
PageNo
501
SegmentNo
4
AyatImagePath
AyatAudioPath
45_24.png
AyatText
وَقَالُوا۟ مَا هِىَ إِلَّا حَيَاتُنَا ٱلدُّنْيَا نَمُوتُ وَنَحْيَا وَمَا يُهْلِكُنَآ إِلَّا ٱلدَّهْرُ ۚ وَمَا لَهُم بِذَٰلِكَ مِنْ عِلْمٍ ۖ إِنْ هُمْ إِلَّا يَظُنُّونَ
AyatMeaning
और वह लोग कहते हैं कि हमारी ज़िन्दगी तो बस दुनिया ही की है (यहीं) मरते हैं और (यहीं) जीते हैं और हमको बस ज़माना ही (जिलाता) मारता है और उनको इसकी कुछ ख़बर तो है नहीं ये लोग तो बस अटकल की बातें करते हैं
Vocabulary
AyatSummary
Conclusions
AyatPurpose
AyatSimilar
HadeethContext
LangCode
hi

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